भारत में अमृत स्टेशन योजना के तहत सभी रेलवे स्टेशनों को भले ही आधुनिक रेलवे स्टेशन बनाया जा रहा है लेकिन देवरिया जनपद में एक ऐसा रेलवे स्टेशन है जो देवरिया जनपद के विकास में सबसे बड़ा भूमिका निभाने वाला रेलवे स्टेशन के बारे में नहीं सोचते हैं देवरिया के जनप्रतिनिधि।
देवरिया जनपद के तीन रेलवे स्टेशन को अमृत भारत स्टेशन योजना के अंतर्गत करोड़ों रुपए के लागत से सुंदरीकरण और आधुनिक बनाया जा रहा है, लेकिन देवरिया में एक ऐसा रेलवे स्टेशन है जो देवरिया का लाइफ लाइन कहा जाता था देवरिया को विकास की गति देने वाला रेलवे स्टेशन कहा जाता है मैं बात कर रहा हूं देवरिया जनपद के सरयू नदी के किनारे बना रेलवे स्टेशन बरहज की जो इतिहास में इस रेलवे स्टेशन का नाम दर्ज है यह रेलवे स्टेशन देश भर में आयात निर्यात और व्यापारियों के लिए बेहतर सुविधा थी, लेकिन अमृत भारत काल में, यह रेलवे स्टेशन अपेक्षा का शिकार हो रहा है।
बरहज रेलवे स्टेशन का इतिहास Barhaj Railway Station
बरहज रेलवे स्टेशन के इतिहास के बारे में बात की जाए तो इसका इतिहास बहुत पुराना है सैकड़ो साल से यह रेलवे स्टेशन संचालित हो रहा है लेकिन बदलते समय में इस रेलवे स्टेशन पर विकास कार्य नहीं हो रहा है बरहज रेलवे स्टेशन 1896 में व्यापारियों की दृष्टिकोण से अंग्रेजी सरकार ने इसको बनवाया था। इस रेलवे स्टेशन के नजदीक सरयू नदी है जिस वजह | उस समय में पानी के जहाज से जरूरी सामान बरहज तक पहुंचता था और रेलवे के माध्यम से देश के विभिन्न कोनों में पहुंचाया जाता था।
बरहज रेलवे स्टेशन जिला मुख्यालय से 30 किलोमीटर की दूरी पर सरयू नदी के किनारे स्थित है यह रेलवे स्टेशन देवरिया जनपद के विकास में अहम भूमिका निभाया 18 के दशक में बरहज रेलवे स्टेशन से लकड़ियों का व्यापार ज्यादा होता था, बरहज रेलवे स्टेशन और रूट का बनाने की प्रक्रिया भी काफी दिलचस्प रहा है, बरहज रेलवे स्टेशन 1996 में इसलिए बनाया गया की यहा से लोहा और लकड़ी सामान बनाए जाते थे अंग्रेजो ने भटनी से बरहज तक रेल रूट बिछाया और इस रेल रूट से देश भर में सामान सप्लाई होती थी।
व्यापारी की दृष्टि से बरहज रेलवे स्टेशन पूरे भारत में प्रसिद्ध है लेकिन देवरिया के जनप्रतिनिधि रेलवे के उच्च अधिकारियों का ध्यान बरहज रेल लाइन के तरफ नहीं है | जिस वजह से इस क्षेत्र के लोगों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। एक तरफ जहां रेल नेटवर्क का विस्तार हो रहा है दूसरी तरफ पहले से मौजूद रेलवे की धरोहर बरहज रेल रूट को स्थानीय लोगों का कहना है कि गोरखपुर से जोड़ देने के बाद क्षेत्र का विकास होगा लंबे समय से लोग इसकी मांग कर रहे हैं लेकिन यहां किसी तरह की कोई व्यवस्था नहीं है।
बरहज और भटनी के बीच में मात्र एक ट्रेन चलाई जाती हैं जिससे क्षेत्र के लोग यात्रा करते हैं लेकिन धीरे-धीरे अब भटनी बरहज रेल रूट अपेक्षा का शिकार होते जा रहा है लोग यह उम्मीद लगा रहे हैं सरकार इसे भविष्य में इस रूट पर भी सरकार ध्यान देगी तो सैकड़ो गांव के लोगों का विकास होगा और उन्हें बेहतर यात्री सुविधा उपलब्ध होगी।