नगर पंचायत मदनपुर के वार्ड नंबर 2 मठिया तिवारी गांव के रहने वाले विमलोक तिवारी ने अपने कठिन परिश्रम और लगन से UPSC 2024 की परीक्षा में 554वीं रैंक प्राप्त कर ली है। इस ऐतिहासिक उपलब्धि से न केवल उनके परिवार, बल्कि पूरे जनपद और क्षेत्रवासियों में खुशी की लहर है। विमलोक तिवारी, रमेश तिवारी के पुत्र हैं, और उनकी यह सफलता क्षेत्र के युवाओं के लिए एक नई प्रेरणा बनकर उभरी है।

UPSC जैसी कठिन परीक्षा में सफलता पाना आसान नहीं होता। देशभर से लाखों छात्र-छात्राएं हर साल इस परीक्षा में भाग लेते हैं, लेकिन उनमें से कुछ ही चुनिंदा अभ्यर्थियों को सफलता प्राप्त होती है। विमलोक की इस सफलता ने यह साबित कर दिया कि छोटे कस्बों और गांवों के छात्र भी अगर सही दिशा में मेहनत करें तो वे किसी भी बड़ी प्रतियोगिता में सफल हो सकते हैं।
विमलोक तिवारी की प्रारंभिक शिक्षा स्थानीय विद्यालय से हुई थी। इसके बाद उन्होंने उच्च शिक्षा के लिए शहर का रुख किया और फिर दिल्ली में रहकर सिविल सेवा की तैयारी में जुट गए। उन्होंने कठिन संघर्ष और अनुशासन के साथ अपने लक्ष्य की ओर कदम बढ़ाया। वे नियमित रूप से 8-10 घंटे की पढ़ाई करते थे और उन्होंने एनसीईआरटी किताबों के साथ-साथ समसामयिक मुद्दों पर विशेष ध्यान दिया।
उनकी इस सफलता पर क्षेत्र के लोगों ने ढोल-नगाड़ों के साथ उनका स्वागत किया। सोशल मीडिया पर भी उन्हें बधाइयों का तांता लग गया है। गांववालों ने मिठाइयाँ बाँटकर अपनी खुशी जाहिर की। विमलोक को बधाई देने वालों में क्षेत्र के जनप्रतिनिधि, शिक्षक, समाजसेवी, और स्थानीय युवा शामिल हैं।
स्थानीय लोगों का कहना है कि विमलोक तिवारी की यह उपलब्धि न केवल परिवार के लिए गर्व का विषय है, बल्कि यह क्षेत्र के युवाओं को भी प्रेरणा देगी कि वे भी कठिन मेहनत और समर्पण के साथ किसी भी मुकाम को हासिल कर सकते हैं।
इस मौके पर विमलोक तिवारी ने कहा, “मेरी इस सफलता का श्रेय मेरे माता-पिता, शिक्षकों और दोस्तों को जाता है जिन्होंने हर कदम पर मेरा मार्गदर्शन और समर्थन किया। मैं चाहता हूँ कि मेरे जैसे और भी गांव के युवा सिविल सेवा में आएं और देश की सेवा करें।”
उनकी इस उपलब्धि के साथ ही अब पूरे क्षेत्र की नजरें UPSC के अंतिम चयन और उनकी पोस्टिंग पर टिकी हैं। उम्मीद की जा रही है कि वे प्रशासनिक सेवा में आकर समाज में सकारात्मक बदलाव लाने का कार्य करेंगे।